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Here is the comprehensive list of articles published by prestigious top media houses and renowned national dailies, based on Acharya Prashant's teachings.
कर्म और मनुष्यता का संबंध है गहरा
अमर उजाला
10 मई 2023

कर्म और मनुष्यता का संबंध है गहरा

अमर उजाला के इस लेख में आचार्य प्रशांत ने मानव जीवन में कर्म के महत्व पर जोर देते हुए कहा कि हमारे कर्म ही जीवन की दिशा निर्धारित करते हैं। घर-परिवार से लेकर दुनियादारी निभाने तक, हर पहलू में कर्म की अहमियत है। उन्होंने बताया कि सही कर्म करने से ही मनुष्य सच्चे अर्थों में मानवता का पालन कर सकता है। जीवन में कर्म और मनुष्यता का गहरा संबंध है, जो हमारे भविष्य को आकार देता है।
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अपनी जिंदगी की जिम्मेदारी स्वयं उठाएं
अमर उजाला
3 मई 2023

अपनी जिंदगी की जिम्मेदारी स्वयं उठाएं

अमर उजाला के इस लेख में आचार्य प्रशांत ने कहा कि अपने जीवन की जिम्मेदारियों को समझना और उन्हें पूरी तरह निभाना सफलता की कुंजी है। हर कार्य की जिम्मेदारी स्वयं लेने से व्यक्ति अपने जीवन में सुधार कर सकता है। उन्होंने बताया कि आत्मनिर्भरता और स्वयं की जिम्मेदारी उठाना जीवन में सकारात्मक बदलाव लाता है। अपनी जिम्मेदारियों को स्वीकार करना और उनका पालन करना ही सच्ची सफलता का मार्ग है।
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ये 4 संकेत बताते हैं कि हम ‘माया’ के गुलाम बन चुके हैं
Speaking tree
2 मई 2023

ये 4 संकेत बताते हैं कि हम ‘माया’ के गुलाम बन चुके हैं

स्पीकिंग ट्री के इस लेख में इला गोस्वामी आचार्य प्रशांत की पुस्तक 'माया' पर लिखती हैं। वे बताती हैं कि अक्सर हम सभी मनुष्यों के चित्त में उठने वाले सवाल एक जैसे ही होते हैं क्योंकि हम सभी आसपास जो महसूस कर रहे हैं, जिन चीज़ों के साथ हमारा तालमेल है और जिस सोच के साथ हम आगे बढ़ रहें हैं, वह सभी एक ही फैक्टर से प्रभावित होता है, वह है ‘माया’।
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सकारात्मक सोच और प्रेरणा से हर मुश्किल आसान
अमर उजाला
26 अप्रैल 2023

सकारात्मक सोच और प्रेरणा से हर मुश्किल आसान

अमर उजाला के इस लेख में आचार्य प्रशांत ने बताया कि सकारात्मक सोच और प्रेरणा से जीवन की कठिनाइयों को आसानी से हल किया जा सकता है। उन्होंने कहा कि हमारी सोच का प्रभाव हमारे कार्यों और परिणामों पर पड़ता है। हर स्थिति में प्रेरित और सकारात्मक रहने से हम अपनी क्षमताओं को पहचानते हैं और अपने लक्ष्यों को हासिल कर सकते हैं।
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अपनी कमज़ोरी को अपनी ताकत बनाएँ
अमर उजाला
19 अप्रैल 2023

अपनी कमज़ोरी को अपनी ताकत बनाएँ

अमर उजाला के इस लेख में आचार्य प्रशांत ने बताया कि खुद को बेसहारा समझने की बजाय आत्मविश्वास के साथ सिर उठा कर जीना सीखें। आत्मनिर्भरता से जीवन में आने वाली हर चुनौती का सामना किया जा सकता है। उन्होंने कहा कि अपनी कमजोरियों को पहचानकर उन्हें अपनी ताकत बनाएं। सही दृष्टिकोण और मेहनत से कोई भी कमजोरी ताकत में बदल सकती है। यह लेख बताता है कि आत्म-विश्वास और संकल्प शक्ति से कैसे हर मुश्किल को पार किया जा सकता है।
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सच्चे पथ-प्रदर्शक की तरह है गुरु
अमर उजाला
12 अप्रैल 2023

सच्चे पथ-प्रदर्शक की तरह है गुरु

अमर उजाला के इस लेख में आचार्य प्रशांत ने बताया कि भारतीय संस्कृति में गुरु का दर्जा भगवान के समान माना जाता है। गुरु हमें सही संस्कारों की राह पर चलने की शिक्षा देकर हमारा मार्ग प्रशस्त करते हैं। एक सच्चा गुरु पथ-प्रदर्शक की तरह होता है, जो हमारे जीवन को सही दिशा में ले जाने में मदद करता है। गुरु का महत्व इसलिए भी है क्योंकि वे हमें आत्मिक ज्ञान और जीवन के सही मूल्य सिखाते हैं, जिससे हम जीवन में सफल और संतुष्ट हो सकें।
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They way to assured success
The Pioneer
April 8, 2023

They way to assured success

Acharya Prashant emphasizes that true success lies in making the right choices rather than simply achieving goals. He highlights the importance of aligning decisions with one's core self and inner needs, asserting that victory is found in the act of choosing the right path itself, rather than in the attainment of external outcomes.
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वर्तमान
राष्ट्रीय सहारा
6 अप्रैल 2023

वर्तमान

राष्ट्रीय सहारा के इस लेख में आचार्य प्रशांत ने धर्म-परिवर्तन पर हो रहे विवाद पर कहा कि यह आत्मिक शांति और सच्चे धर्म की खोज में होना चाहिए, न कि आर्थिक या शारीरिक लाभ के लिए। उन्होंने समझाया कि बाहरी दिखावे या लाभ के लिए धर्म बदलना आत्मिक विकास में बाधा उत्पन्न कर सकता है।
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अपनी जिम्मेदारियों का निर्वाह करना सीखें
अमर उजाला
5 अप्रैल 2023

अपनी जिम्मेदारियों का निर्वाह करना सीखें

अमर उजाला के इस लेख में आचार्य प्रशांत ने बताया कि आरामपरस्त जीवनशैली को त्यागकर जिम्मेदारियों का बोझ उठाना आवश्यक है। जब तक आप जिम्मेदार नहीं बनेंगे, तब तक जीवन के दौड़ में पीछे ही रह जाएंगे। उन्होंने समझाया कि आत्मनिर्भरता और जिम्मेदारी निभाने से ही व्यक्ति जीवन में सफलता और संतुष्टि पा सकता है। अपनी जिम्मेदारियों को निभाना सच्चे आत्मसम्मान और आत्मविकास का मार्ग है।
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जन्म और मृत्यु: आचार्य प्रशांत
राष्ट्रीय सहारा
30 मार्च 2023

जन्म और मृत्यु: आचार्य प्रशांत

राष्ट्रीय सहारा के इस लेख में आचार्य प्रशांत ने जन्म और मृत्यु की प्रक्रिया पर विचार करते हुए बताया कि ये प्रकृति के खेल हैं, जिसमें कोई बदलाव नहीं होता। उन्होंने कहा कि आत्मा की सही खोज प्रकृति में नहीं, बल्कि आत्मज्ञान में है। बाहरी दुनिया में सत्य की खोज करने से व्यक्ति निराशा पाता है, जबकि आत्मज्ञान से ही सच्चे सुख और शांति की प्राप्ति होती है।
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